घाना की संसद को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि एक मजबूत भारत, स्थिर और समृद्ध विश्व के निर्माण में योगदान देगा. उन्होंने कहा कि भारत लोकतंत्र की जननी है, हमारे लिए लोकतंत्र एक सिस्टम नहीं है, बल्कि एक संस्कार है. उन्होंने कहा कि प्रगति तब तक संभव नहीं है, जब तक ग्लोबल साउथ को आवाज नहीं मिल जाती. प्रधानमंत्री ने वैश्विक शासन में सुधारों की जरूरत पर भी जोर दिया.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र के रूप में भारत विश्व के लिए एक शक्ति का स्तंभ है. यहां 2500 से ज्यादा सियासी दल है, बीस अलग-अलग पार्टियां अलग-अलग राज्यों पर शासन करती हैं, यहां 22 आधिकारिक भाषाएं हैं. हजारों बोलियां हैं. यही वजह है कि भारत में आने वाले लोगों को हमेशा खुले दिल से स्वागत किया जाता है.
पीएम मोदी को घाना का सर्वोच्च नागरिक सम्मान – द ऑफिसर ऑफ द ऑर्डर द स्टार ऑफ घाना प्रदान किया गया. प्रधानमंत्री मोदी करीब 30 साल बाद घाना जाने वाले पहले भारतीय प्रधानमंत्री हैं. एयरपोर्ट पर पहुंचते ही उन्हें 21 तोपों की सलामी के साथ गार्ड ऑफ ऑनर दिया गया. (तस्वीर – नरेंद्र मोदी फेसबुक पेज से साभार)